- by Parth Kumar
- Aug, 01, 2025 09:02
ग्रहाम थॉर्प – इंग्लैंड क्रिकेट की सादगी और मजबूती का प्रतीक
ग्रहाम थॉर्प का नाम इंग्लैंड क्रिकेट इतिहास के उन खिलाड़ियों में शामिल है, जिन्होंने अपने खेल से मुश्किल समय में टीम को संभाला और संकट की घड़ी में भी धैर्य और समझदारी से पारी को आगे बढ़ाया। उन्होंने 1993 से 2005 के बीच इंग्लैंड के लिए 100 टेस्ट मैच खेले और 6744 रन बनाए। उनकी तकनीक, शांत व्यवहार और टीम के प्रति समर्पण उन्हें खास बनाता था।
लॉर्ड्स के मैदान पर गूंजा थॉर्प का नाम
2025 में भारत और इंग्लैंड के बीच खेले जा रहे पांचवें टेस्ट मैच के पहले दिन लॉर्ड्स स्टेडियम में जब दो मिनट का मौन रखकर थॉर्प को श्रद्धांजलि दी गई, तो माहौल बेहद भावुक हो गया। दर्शकों, खिलाड़ियों और कमेंटेटरों की आंखें नम थीं। यह पल इंग्लैंड क्रिकेट की भावनाओं को दर्शाने वाला था।
इंग्लैंड टीम का संदेश – थॉर्प हमारी प्रेरणा हैं
इंग्लैंड टीम के मौजूदा कप्तान ने थॉर्प को याद करते हुए कहा, "वह सिर्फ एक खिलाड़ी नहीं, बल्कि एक मेंटर थे। उन्होंने ड्रेसिंग रूम में जो माहौल बनाया, वह आज भी हमारे लिए मिसाल है।" थॉर्प ने इंग्लैंड टीम के कोचिंग स्टाफ का भी हिस्सा बनकर कई युवा खिलाड़ियों को मार्गदर्शन दिया था।
भारत की ओर से भी मिला सम्मान
इस भावुक क्षण में भारतीय टीम ने भी भाग लिया और थॉर्प को सम्मान दिया। विराट कोहली और रोहित शर्मा जैसे खिलाड़ी भी श्रद्धांजलि के दौरान मौन खड़े दिखे, जिससे क्रिकेट की खेल भावना का अद्भुत उदाहरण देखने को मिला।
मैच में जश्न, पर दिलों में यादें
जहां एक ओर इंग्लैंड और भारत के बीच खेल का रोमांच चरम पर था, वहीं दूसरी ओर दर्शकों के मन में थॉर्प की यादें ताजा थीं। इंग्लैंड की पहली पारी में खिलाड़ियों ने खास रूप से थॉर्प की जर्सी नंबर के साथ हाथ में काली पट्टी भी पहनी, जिससे उनके प्रति सम्मान व्यक्त हुआ।
ग्रहाम थॉर्प – क्रिकेट के सज्जन योद्धा
थॉर्प की सबसे खास बात थी उनकी सादगी और संयम। मैदान पर उनकी तकनीक और मानसिक मज़बूती युवा खिलाड़ियों के लिए आज भी प्रेरणा है। उनका जाना क्रिकेट जगत के लिए एक बड़ी क्षति है, लेकिन उनके योगदान को कभी भुलाया नहीं जा सकता।